पीवी सिंधु ने आठवीं सीड जापान की नोजोमी ओकुहारा को हराकर कोरिया ओपन सुपर सीरीज बैडमिंटन में वुमन्स सिंगल्स का खिताब जीत लिया। इस जीत के साथ ही वर्ल्ड नंबर चार सिंधु ने ओकुहारा से वर्ल्ड चैम्पियनशिप के फाइनल में मिली हार का बदला भी चुका लिया। रविवार को खेले गए फाइनल में उन्होंने पहली बार यह खिताब जीतकर इतिहास रच दिया। ओलिंपिक और वर्ल्ड चैम्पिंयनशिप की सिल्वर मेडलिस्ट सिंधु ने ओकुहारा को एक घंटे 24 मिनट तक चले मैच में 22-20, 11-21, 21-18 से हरा दिया। - इस जीत के बाद सिंधु को करीब 3.84 करोड़ रुपए (6 लाख डॉलर) की इनामी राशि भी मिली। - पिछले महीने वर्ल्ड बैडमिंटन चैम्पियनशिप के फाइनल में ओकुहारा ने सिंधु को हराया था। जिसका बदला सिंधु ने रविवार को ले लिया। - इस मैच में सबसे लंबी रैली तीसरे गेम के दौरान दिखी। 56 शॉट्स की इस रैली को जीतकर सिंधु ने 19-16 से बढ़त बनाई और आखिरकार 21-18 से गेम जीतकर कोरिया ओपन सुपर सीरीज टाइटल जीत लिया। - इस जीत के साथ ही सिंधु कोरिया ओपन का खिताब जीतने वाली पहली भारतीय शटलर बन गई हैं। इससे पहले अजय जयराम भारत के पहले ऐसे शटलर थे जो साल 2015 में इस टूर्नामेंट के फाइनल में पहुंचे थे। हालांकि वे हार गए थे। करियर का तीसरा सुपर सीरीज टाइटल - कोरिया ओपन सिंधु के करियर का तीसरा सुपर सीरीज टाइटल है। इससे पहले साल 2016 में उन्होंने चाइना सुपर सीरीज प्रीमियर और इस साल इंडिया ओपन सुपर सीरीज में वुमन्स सिंगल्स का टाइटल जीता था। - फाइनल में मिली इस जीत के बाद सिंधु ने ओकुहारा के खिलाफ अपना करियर रिकॉर्ड 4-4 कर लिया। - सिंधु ने ओकुहारा को हराकर ऑस्ट्रेलियन ओपन और वर्ल्ड चैम्पियनशिप जीतने के बाद इस शटलर का लगातार तीसरा टाइटल जीतने का सपना तोड़ दिया। ऐसा रहा SF और QF का सफर - सिंधु ने सेमीफाइनल मैच में चीनी शटलर को 66 मिनट चले मैच में 21-10, 17-21, 21-16 से हराया था। - इससे पहले क्वार्टर फाइनल में उन्होंने जापान की मिनात्सु मितानी को 21-19, 16-21, 21-10 से हराते हुए सेमीफाइनल में जगह बनाई थी।