प्रदेश के कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही ने मैनपुरी में रबी सीजन के लिए आलू और गेहूँ की फसलों के लिए उर्वरक की पर्याप्त उपलब्धता और संतुलित उपयोग पर विशेष जोर दिया है। उन्होंने बताया कि जिले में यूरिया, डीएपी, एनपीके और एसएसपी उर्वरकों की आवश्यक मात्रा उपलब्ध कराई गई है, और जल्द ही फास्फेटिक उर्वरकों की अतिरिक्त खेप भी मैनपुरी पहुँचने वाली है। मैनपुरी में उर्वरक उपलब्धता के संदर्भ में उन्होंने बताया कि अभी वहां यूरिया 27,896 मैट्रिक टन डीएपी 1,415 मैट्रिक टन एनपीके: 2,285 मैट्रिक टन एसएसपी: 1,869 मैट्रिक टन उपलब्ध है। कृषि मंत्री ने प्रधानमंत्री प्रणाम योजना के तहत किसानों से संतुलित और जिम्मेदार उर्वरक उपयोग का आग्रह किया। उन्होंने बताया कि यूरिया और डीएपी का सीमित उपयोग करने के साथ अन्य आवश्यक पोषक तत्वों की पूर्ति के लिए वैकल्पिक उर्वरकों का उपयोग करना जरूरी है ताकि मृदा और पर्यावरण की गुणवत्ता को बनाए रखा जा सके। उन्होंने फसलों के अनुसार संस्तुत उर्वरक मात्रा का उल्लेख करते हुए कहा कि आलू में 150:100:60 (एनपीके) प्रति हेक्टेयर 7 यूरिया बैग, 5 डीएपी बैग, गेहूँ में 120:60:40 (एनपीके) प्रति हेक्टेयर 5 यूरिया बैग, 3 डीएपी बैग का उपयोग किया जा सकता है। कृषि मंत्री ने किसानों से आग्रह किया है कि वे उर्वरक खरीदते समय आधार कार्ड अवश्य साथ रखें और विक्रेता से कैश मेमो प्राप्त करें। यदि कोई विक्रेता निर्धारित मूल्य से अधिक कीमत मांगता है या किसी अन्य उत्पाद खरीदने का दबाव डालता है, तो शिकायत जिला कृषि अधिकारी के निम्नलिखित नंबरों पर की जा सकती है। जिला कृषि अधिकारी मैनपुरी 7839882673, 7839882674 सहकारिता/समिति शिकायत 7905240645, 9140363250 उन्होंने कहा कि शिकायतें साक्ष्यों के साथ जिला कृषि अधिकारी कार्यालय या सहायक आयुक्त सहकारिता कार्यालय मैनपुरी में भी किसी कार्य दिवस में दर्ज कराई जा सकती हैं। यहां यह उल्लेखनीय है कि प्रदेश भर में उर्वरक की स्थिति पर माननीय मुख्यमंत्री तथा स्वयं कृषि मंत्री निरंतर निगरानी रख रहे हैं। कृषि मंत्री ने बुधवार को लखनऊ जनपद के विभिन्न विक्रय केंद्रों पर स्वयं छापा मारकर खाद की स्थिति और वितरण की जानकारी ली। कृषि मंत्री द्वारा नियमित रूप से प्रदेश के सभी जनपदों में खाद की स्थिति को लेकर विभागीय अधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक की जा रही है। गुरुवार शाम को भी उनके द्वारा अपने आवास पर कृषि निदेशक तथा संयुक्त निदेशक उर्वरक के साथ समीक्षा बैठक की गई।